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आसान और किफायती है प्लास्टिक बोतल से बना ड्रिप इरिगेटर तकनीक

फसलों के अच्छे उत्पादन और वृद्धि के लिए सिंचाई प्रणाली मुख्य भूमिका निभाती है। अगर फसलों को समय पर पानी न दिया जाये तो इसका सीधा प्रभाव फसल की पैदावार पर पड़ता है और किसानों को नुकसान उठाना पड़ता है। ऐसे में किसानों को फसलों की सिंचाई तकनीक की जानकारी अवश्य रखनी चाहिए। हमारे देश में कई वैज्ञानिकों ने खेती बाड़ी के कार्यों को सरल और आसान बनाने के लिए नई – नई तकनीकों और उपकरणों को विकसित किया है। वहीँ बाजार में भी उच्च गुणवत्ता वाले सिंचाई उपकरण उपलब्ध हैं जिनके उपयोग से सिंचाई प्रणाली को आसान किया जा सकता है।  

लेकिन कुछ ऐसे किसान भाई हैं जिनकी आर्थिक स्थिति बहुत कमजोर है, जिससे वह बाजार में मिलने वाले सिंचाई उपकरण को आसानी से नहीं खरीद सकते हैं। ऐसे में आज इस लेख के माध्यम से हम फसलों में सिंचाई करने की ख़ास और सरल तकनीक के बारे में बात करने जा रहे हैं जो किसान भाइयों के लिए काफी किफायती रहेगी।

दरअसल, हम बात कर रहे हैं प्लास्टिक की बोतलों से बनी ड्रिप-इरिगेटर तकनीक की। इसका उपयोग किसान भाइयों के लिए बहुत उपयोगी साबित होगा। इस तकनीकी के माध्यम से समय और श्रम दोनों की बचत होती है।

प्लास्टिक बोतल ड्रिप-इरिगेटर तकनीक:

इस लेख में हम आपको दो तरह की प्लास्टिक बोतलों से ड्रिप सिंचाई तैयार करने की तकनीक बताएंगे-

  1. ग्लूकोज़ बोतल से तैयार ड्रिप इरिगेटर
  • सबसे पहले ग्लुकोज चढाने के लिए इस्तेमाल होने वाली प्लास्टिक की बोतल लें।
  • अब किसी नुकीले औजार की सहायता से बोतल के ढक्कन में एक छेद करें।
  • इसके बाद ड्रिप वायर को काट लें और उस हिस्से को काम में लें, जिसमें फ्लो को कंट्रोल करने के लिए सिस्टम लगा हुआ होता है।
  • अब ढक्कन के छेद में से आईवी वायर को लगाएं।
  • इसके बाद बोतल को पानी से भर कर ढक कर रख दें।
  • आपको जहाँ पानी देना है, गमले या पौधे के ऊपर इस बोतल को किसी लकड़ी या लोहे की रॉड की मदद से उल्टा लटका दें।
  • ड्रिप वायर के कंट्रोलर से आप पानी का बहाव कम-ज्यादा कर सकते हैं।
ड्रिप-इरीगेशन

2. कोल्ड ड्रिंक और पानी की बोतल से तैयार ड्रिप इरिगेटर

  • इसमें भी सबसे पहले आपको प्लास्टिक की बोतल जैसे कोल्ड ड्रिंक्स और पानी की खाली बोतल लें।
  • इसके बाद बोतल के ढक्कन में छोटे-छोटे 3-4 छेद करें।
  • फिर बोतल को तले की तरफ से कटर की सहायता से काट लें।
  • अब सिंचाई के लिए खेत या बगीचे में पौधे की जड़ के पास हल्का गड्डा करें और उसमें बोतल को उलटी तरफ से यानी ढक्कन की तरफ से गाड़ दें।
  • अब बोतल के अंदर ऊपर की ओर से पानी भर दें।
  • इसके बाद बोतल को बंद कर दें।
  • इस तकनीक से आपको बाल्टी से बार – बार पानी देने की आवश्यकता नहीं पड़ेगी और काफी ज्यादा समय तक मिट्टी में नमी रहेगी और आप सामान्य तौर पर 4 से 5 लीटर पानी बचा सकते हैं।

निष्कर्ष:

हमारे इस लेख को पढ़ने के लिए आपका धन्यवाद। कृषि क्षेत्र को आगे बढ़ाने के लिए आप जैसे पाठक हमारे लिए एक प्रेरणा हैं। किसान समुदाय को सशक्त बनाने एवं भारत के ग्रामीण क्षेत्रों में सही और उचित जानकारी पहुंचाने की हमारी पूरी कोशिश है। ऐसी ही खेती और कृषि ख़बरों को पढ़ने और जानने के लिए किसान वेदिका वेबसाइट लिंक https://kisanvedika.bighaat.com/  पर क्लिक करें। 

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